काशीपुर। महानगर के मध्य स्थित महाराणा प्रताप चौक शुक्रवार को एक ऐतिहासिक क्षण का साक्षी बना, जब महिलाओं की सुविधा और गरिमा को ध्यान में रखते हुए नगर निगम ने एक अत्याधुनिक पिंक टॉयलेट जनता को समर्पित किया। उद्घाटन समारोह में महापौर दीपक बाली ने फीता काटकर इसका विधिवत लोकार्पण किया। कार्यक्रम में मौजूद लोगों के बीच उत्साह का माहौल देखने को मिला, जब महिलाओं की आवश्यकताओं को प्राथमिकता देते हुए यह पहल साकार हुई। इस अवसर पर उप जिलाधिकारी एवं नगर निगम के उप नगर आयुक्त अभय प्रताप सिंह भी विशेष रूप से उपस्थित रहे। यह पिंक टॉयलेट उत्तराखंड सरकार की पर्यटन योजना के अंतर्गत तैयार किया गया है और इसकी कुल लागत 22 लाख रुपये रही है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के मार्गदर्शन में यह कार्य पूर्ण हुआ, जिसे महापौर ने महिलाओं की गरिमा की दिशा में बड़ा कदम बताया।
गौरतलब है कि यह टॉयलेट केवल एक साधारण सार्वजनिक सुविधा नहीं, बल्कि एक ऐसा संरचना है, जो महिलाओं के आत्मसम्मान और सुविधा दोनों का प्रतीक है। दीपक बाली ने स्पष्ट किया कि इस टॉयलेट की सबसे बड़ी विशेषता इसका जुड़ाव राजकीय बालिका इंटर कॉलेज (जीजीआईसी) से है, जहां से छात्राएं भी पीछे के विशेष द्वार से सीधा प्रवेश कर सकेंगी। यही नहीं, परिसर में एक विशेष आराम कक्ष (रिलैक्सेशन रूम) भी बनाया गया है, जो मातृत्व की ज़िम्मेदारी निभा रही महिलाओं के लिए फीडिंग जैसी ज़रूरतों को सहज बनाएगा। इस योजना के ज़रिए न केवल स्वच्छता को बढ़ावा मिलेगा बल्कि स्थानीय महिलाओं को रोजगार भी उपलब्ध होगा, क्योंकि इसका संचालन स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को सौंपा गया है।

शहर के प्रमुख लोगों की उपस्थिति ने इस कार्यक्रम को और भी गरिमामयी बना दिया। पूर्व प्रदेश संगठन महामंत्री संजय जी, पार्षद गुरविंदर सिंह चंडोक, भाजपा मंडल अध्यक्ष बृजेश पाल, चौधरी समरपाल सिंह, जसवीर सिंह सैनी, रवि पाल, एडवोकेट अभिताभ सक्सेना, राजीव अरोरा बच्चू, ईश्वर चंद गुप्ता, राजकुमार यादव, और धीरज वर्मा समेत अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे। इस अवसर पर महापौर ने शहरवासियों से अपील की कि वे इस पिंक टॉयलेट का जिम्मेदारी से उपयोग करें और इसकी स्वच्छता बनाए रखने में सहयोग दें। उन्होंने यह भी कहा कि आने वाले समय में नगर निगम और भी ऐसी योजनाएं लाने की तैयारी में है, जिससे काशीपुर को एक स्मार्ट और सशक्त शहर के रूप में विकसित किया जा सके।
वहीं इस अवसर पर उपस्थित एसडीएम अभय प्रताप सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि यह टॉयलेट केवल निर्माण नहीं, बल्कि सामाजिक बदलाव की दिशा में उठाया गया सशक्त कदम है। उन्होंने बताया कि लंबे समय से बाजार क्षेत्र में महिलाओं को शौचालय की अनुपलब्धता के कारण परेशानियों का सामना करना पड़ता था। यही वजह रही कि इस परियोजना को प्राथमिकता दी गई। भूमि चयन की चुनौतीपूर्ण प्रक्रिया के बाद यह स्थान तय किया गया, जो जीजीआईसी और एनकेवी स्कूल की भूमि के समीप है। विद्यालयों से विधिवत एनओसी लेकर हर प्रक्रिया को पारदर्शी और वैध बनाया गया। स्कूल प्रशासन ने भी इस योजना को सराहा और भरपूर सहयोग दिया, विशेषकर छात्राओं की सुविधा को देखते हुए।
इस नई सुविधा के संचालन को लेकर भी विशेष सावधानी बरती गई है। विकास प्राधिकरण के माध्यम से इसका निर्माण कराया गया, और अब इसकी जिम्मेदारी नगर निगम को सौंपी गई है, जो इसे महिलाओं के स्वयं सहायता समूहों के ज़रिए संचालित करेगा। इस पहल से महिलाओं को न सिर्फ आत्मनिर्भर बनने का अवसर मिलेगा, बल्कि समाज में भागीदारी की भावना भी विकसित होगी। दीपक बाली द्वारा इस परियोजना को पूर्ण करने के लिए की गई तत्परता की हर ओर सराहना हो रही है। अब महिलाएं न केवल खुलेआम सार्वजनिक स्थलों पर जाने में सहजता महसूस करेंगी, बल्कि स्वच्छता और सम्मान के साथ यह टॉयलेट उनके लिए एक नई शुरुआत का प्रतीक बनेगा।
अभय प्रताप सिंह ने स्पष्ट किया कि यह पिंक टॉयलेट सिर्फ एक सुविधा नहीं, बल्कि समाज की एक बड़ी जरूरत को संबोधित करने वाला नवाचार है। उन्होंने कहा कि यदि इस सुविधा का जिम्मेदारी से उपयोग किया गया और इसके रखरखाव में सहयोग मिला, तो यह व्यवस्था वर्षों तक महिलाओं की सेवा करती रहेगी। उन्होंने आश्वासन दिया कि प्रशासन आने वाले समय में भी इसी प्रकार की योजनाओं को धरातल पर उतारने में प्रतिबद्ध रहेगा, जिससे समाज में समानता और सुविधा का माहौल बन सके। काशीपुर, जो कभी सार्वजनिक शौचालयों की समस्या से जूझता था, अब महिला सुविधा के क्षेत्र में नए आयाम गढ़ रहा है।