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वन सुरक्षा बल ने अवैध डंपरों को पकड़ा, वन संपत्ति की रक्षा में सफलता

वन सुरक्षा बल ने साहसिक कार्रवाई में अवैध डंपरों को पकड़ा, वन संपत्ति की सुरक्षा और अवैध उत्खनन पर प्रभावी नियंत्रण स्थापित किया।

रामनगर। वन सुरक्षा बल की टीम ने एक बड़ी सफलता हासिल करते हुए 3 मई 2025 को दो डंपरों को अवैध रूप से रॉयल्टी के बिना आर.बी.एम. ले जाते हुए पकड़ा। यह कार्रवाई प्रभागीय वनाधिकारी तराई पश्चिमी वन प्रभाग प्रकाशी चन्द्र आर्या के मार्गदर्शन में, उप प्रभागीय वनाधिकारी वन सुरक्षा बल और वन क्षेत्राधिकारी वन सुरक्षा बल के नेतृत्व में वन सुरक्षा बल की टीम ने की। दोपहर लगभग 1 बजे सुल्तानपुर पट्टी में गश्त के दौरान इन दोनों डंपरों को अवैध गतिविधियों में लिप्त पाया गया। इन डंपरों की रजिस्ट्रेशन संख्या क्रमशः ना18बं-6449 और ना08बं-6345 थी। इस दौरान इन वाहनों के पास कोई वैध रॉयल्टी प्रपत्र नहीं थे, जिससे टीम ने त्वरित कार्रवाई की और दोनों वाहनों को वन अभिरक्षा में ले लिया।

जब वन सुरक्षा बल की टीम बन्नाखेड़ा की तरफ दोनों डंपरों को लेकर आ रही थी, तो ग्राम रतनपुरा में वाहन मालिक और उनके कुछ फिल्डर द्वारा एक अप्रत्याशित हरकत की गई। इन लोगों ने ना18बं-6449 नंबर के डंपर के रास्ते में स्कॉर्पियो और थार वाहन खड़े कर दिए, साथ ही बाइकों को भी डंपर के सामने लगाकर उसे रोकने का प्रयास किया। टीम के कर्मचारियों के साथ छिनाझपटी भी की गई और डंपर को भगाने की कोशिश की गई। ऐसी स्थिति में टीम ने तत्काल 112 पर कॉल किया और पुलिस को सूचित किया। पुलिस की मदद से सुल्तानपुर पट्टी पुलिस चौकी को भी सूचित किया गया।

लेकिन इसके बावजूद वाहन मालिक और उनके साथी डंपर को भागने की कोशिश करते रहे, जिससे टीम को मजबूरन कठोर कदम उठाने पड़े। सुरक्षा के लिए डंपर के टायर में दो गोली मारी गई, ताकि उसे पूरी तरह से रोका जा सके। इसके बाद ना18बं-6449 नंबर वाले डंपर को बन्नाखेड़ा रेंज परिसर में सुरक्षित रूप से खड़ा किया गया। वहीं, दूसरे डंपर, जिसकी रजिस्ट्रेशन संख्या ना08B-6345 थी, को सुल्तानपुर पट्टी पुलिस चौकी के हवाले कर दिया गया, ताकि जांच के लिए उचित कार्रवाई की जा सके।

यह कार्रवाई वन सुरक्षा बल के जवानों की सतर्कता और साहस का प्रतीक है। चंदन सिंह बिष्ट (वन दरोगा), अजय कुमार और मनमोहन सिंह (वन आरक्षी) की टीम ने इस अभियान में सक्रिय भूमिका निभाई। मुराद अली और सुंदर बिष्ट, जो टीम के चालक थे, ने भी महत्वपूर्ण योगदान दिया। इन सभी ने मिलकर यह सुनिश्चित किया कि इन अवैध गतिविधियों पर कड़ी नजर रखी जाए और किसी भी प्रकार की अवैध लकड़ी या खनिज उत्खनन को नियंत्रित किया जा सके।

वन सुरक्षा बल की यह सफलता केवल वन विभाग की अथक मेहनत और समर्पण का परिणाम नहीं है, बल्कि यह समाज के लिए एक सशक्त संदेश भी है कि वन क्षेत्रों में अवैध गतिविधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। यह घटना उन तत्वों को चेतावनी देती है जो वन संपत्ति और प्राकृतिक संसाधनों का शोषण करने का प्रयास करते हैं। वन सुरक्षा बल ने एक बार फिर यह साबित कर दिया कि जब तक अवैध गतिविधियों का विरोध किया जाएगा, तब तक वन विभाग अपनी पूरी ताकत के साथ हर ऐसी कार्रवाई को रोकने के लिए तत्पर रहेगा।

वन सुरक्षा बल के इस साहसिक कदम ने न केवल प्रशासन की ताकत को दर्शाया है, बल्कि यह भी सुनिश्चित किया है कि वन क्षेत्र में किसी भी प्रकार की अनधिकृत गतिविधि को सहन नहीं किया जाएगा। यह कार्रवाई वन विभाग की प्रभावी रणनीतियों और योजनाओं का हिस्सा है, जो भविष्य में इसी तरह की अन्य घटनाओं को रोकने में मदद करेगी।

प्रभागीय वनाधिकारी तराई पश्चिमी वन प्रभाग, प्रकाशी चन्द्र आर्या ने वन सुरक्षा बल की टीम की कार्रवाई को लेकर महत्वपूर्ण बयान दिया। उन्होंने कहा कि वन सुरक्षा बल की सतर्कता और टीम की तत्परता से दो डंपरों को अवैध रूप से आर.बी.एम. ले जाते हुए पकड़ा गया। यह कार्रवाई वन विभाग के लगातार प्रयासों का हिस्सा है, ताकि वन क्षेत्र में किसी प्रकार की अनधिकृत गतिविधियों को रोका जा सके। उन्होंने यह भी कहा कि वन विभाग की टीम ने न केवल इन अवैध गतिविधियों को रोकने के लिए त्वरित कार्रवाई की, बल्कि हर परिस्थितियों में अपनी जिम्मेदारी निभाई। प्रकाशी चन्द्र आर्या ने यह स्पष्ट किया कि वन सुरक्षा बल द्वारा की गई यह कार्रवाई वन संपत्ति और प्राकृतिक संसाधनों की सुरक्षा के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, और भविष्य में भी इस प्रकार की गतिविधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई जारी रखी जाएगी।

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