हरिद्वार(एस पी न्यूज़)। भाजपा कार्यालय हरिद्वार में आगामी विधानसभा चुनाव के दृष्टिगत पार्टी की संगठनात्मक प्रक्रिया को गति दी जा रही है। 2025 के संगठन पर्व के अवसर पर जिला हरिद्वार में मंडल अध्यक्षों का चयन प्रक्रिया शुरू करने की योजना बनाई गई है। इस चुनावी साल में पार्टी की ताकत को मजबूती देने के लिए यह कदम उठाया जा रहा है, ताकि हरिद्वार जिले में पार्टी संगठन और अधिक सशक्त हो सके। इस प्रक्रिया की जिम्मेदारी जिला अध्यक्ष संदीप गोयल की अध्यक्षता में बनाई गई समिति ने ली है। इस समिति का उद्देश्य आगामी विधानसभा चुनावों के लिए हर विधानसभा क्षेत्र में एक मजबूत और सक्रिय संगठनात्मक संरचना तैयार करना है, जिसमें मंडल अध्यक्षों का चुनाव एक महत्वपूर्ण कदम होगा। पार्टी का मानना है कि अगर मंडल अध्यक्ष मजबूत, समझदार और कार्यकर्ताओं के बीच लोकप्रिय होंगे, तो यह आने वाले चुनाव में पार्टी की सफलता को सुनिश्चित करेगा।
मंडल अध्यक्षों के चयन की प्रक्रिया पार्टी के संविधान और प्रदेश नेतृत्व के दिशा निर्देशों का पालन करते हुए शुरू की जाएगी। जिले में मंडल अध्यक्षों का चयन यथाशीघ्र संपन्न करने की योजना बनाई गई है, ताकि पार्टी संगठन को समय पर मजबूत किया जा सके। इस चुनावी प्रक्रिया में पार्टी के नेता यह सुनिश्चित करेंगे कि सभी उम्मीदवारों का चयन पार्टी के आदर्शों और सिद्धांतों के अनुसार हो। इसके साथ ही यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि मंडल अध्यक्षों का चयन पूरी तरह से पारदर्शी तरीके से हो, जिसमें प्रत्येक पदाधिकारी की राय ली जाएगी। पार्टी नेतृत्व की मान्यता प्राप्त राय के बाद ही किसी भी उम्मीदवार को चयनित किया जाएगा। यह प्रक्रिया एक संगठनात्मक चुनाव के रूप में की जा रही है, जिससे पार्टी के कार्यकर्ताओं को अपनी भूमिका और जिम्मेदारी समझने का अवसर मिलेगा।
प्रदेश नेतृत्व ने यह भी निर्देशित किया है कि मंडल अध्यक्षों के चयन के लिए विधानसभा अनुसार पर्यवेक्षकों को तैनात किया जाएगा। ये पर्यवेक्षक जल्द ही संबंधित विधानसभा क्षेत्रों का दौरा करेंगे और पार्टी के सभी अपेक्षित पदाधिकारियों से राय लेकर मंडल अध्यक्षों का पैनल तैयार करेंगे। प्रदेश नेतृत्व ने यह सुनिश्चित किया है कि सभी राय को ध्यान में रखते हुए ही उम्मीदवारों का चयन किया जाए। हर मंडल अध्यक्ष को पार्टी के लिए काम करने का अनुभव होना चाहिए, साथ ही उसे संगठन के कार्यों की गहरी समझ होनी चाहिए। यह चयन प्रक्रिया न केवल पार्टी के लिए बल्कि कार्यकर्ताओं के लिए भी एक अवसर होगा, जहां वे अपने विचार और सुझाव प्रदेश नेतृत्व तक पहुंचा सकेंगे।
मंडल अध्यक्ष के चयन के लिए जो मानक निर्धारित किए गए हैं, उनके अनुसार केवल वही व्यक्ति इस पद पर आसीन हो सकता है, जो पार्टी का प्राथमिक और सक्रिय सदस्य हो। पार्टी का कोई न कोई दायित्व निभाने वाले या फिर पार्टी में किसी पद पर कार्यरत सदस्य को ही इस पद के लिए योग्य माना जाएगा। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि चुने गए मंडल अध्यक्ष पार्टी के मूल सिद्धांतों के प्रति प्रतिबद्ध हों और वे संगठन के कार्यों में पूरी तरह से सक्रिय भूमिका निभा सकें। इसके साथ ही यह भी महत्वपूर्ण है कि मंडल अध्यक्षों को पार्टी की वैचारिक पृष्ठभूमि का पूरा ज्ञान हो, ताकि वे अपने कार्यों के माध्यम से पार्टी की नीतियों को सही तरीके से प्रचारित कर सकें और कार्यकर्ताओं को एकजुट कर सकें।
इस चुनावी प्रक्रिया को लेकर जिला अध्यक्ष संदीप गोयल ने बताया कि प्रदेश नेतृत्व द्वारा निर्धारित दिशा-निर्देशों के अनुसार हर विधानसभा क्षेत्र में पर्यवेक्षक मंडल अध्यक्षों के चयन हेतु पूरी जिम्मेदारी से काम करेंगे। इन पर्यवेक्षकों द्वारा सभी आवश्यक पदाधिकारियों से राय लेकर एक पैनल तैयार किया जाएगा, जिसे आगामी 16 फरवरी तक प्रदेश नेतृत्व को सौंप दिया जाएगा। इसके बाद विधानसभा पर्यवेक्षकों से विचार-विमर्श के बाद प्रदेश संगठन द्वारा मंडल अध्यक्षों के नाम की घोषणा की जाएगी। यह प्रक्रिया पूरी तरह से पारदर्शी और संगठन के हित में होगी, ताकि पार्टी के कार्यकर्ताओं में विश्वास और उत्साह बना रहे। पार्टी के लिए यह कदम महत्वपूर्ण है, क्योंकि चुनावी वर्ष में पार्टी की सफलता के लिए संगठन को और सशक्त बनाना अनिवार्य है।
इस अवसर पर जिला महामंत्री आशु चौधरी, आशुतोष शर्मा, जिलाउपाध्यक्ष लव शर्मा, जिला मंत्री मोहित वर्मा, जिला कोषाध्यक्ष सचिन शर्मा, जिला युवामोर्चा जिलाध्यक्ष विक्रम भुल्लर, और अरविंद अग्रवाल सहित अन्य पदाधिकारी भी उपस्थित थे। इन सभी नेताओं ने इस प्रक्रिया की महत्ता को समझते हुए इसे सफलता की ओर अग्रसर करने के लिए हर संभव प्रयास करने का आश्वासन दिया। पार्टी कार्यकर्ताओं को इस प्रक्रिया से जुड़ी सभी आवश्यक जानकारी प्रदान की जाएगी, ताकि कोई भी कार्यकर्ता इस चयन प्रक्रिया से अनजान न रहे। यह कदम पार्टी की संगठनात्मक मजबूती की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जिससे हरिद्वार जिले में पार्टी के कार्यकर्ताओं की संख्या और सक्रियता बढ़ेगी।