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भारतीय किसान यूनियन युवा का बड़ा प्रदर्शन, किसानों की मांगें पूरी न हुईं तो आंदोलन की चेतावनी

किसानों की ललकार – हक के लिए सड़कों पर उतरे, सरकार को दी बड़ी चेतावनी

काशीपुर(एस पी न्यूज़)। क्षेत्र के सैकड़ों किसानों ने आज भारतीय किसान यूनियन युवा के नेतृत्व में अपनी मांगों को लेकर जोरदार प्रदर्शन किया। किसानों ने कोर्ट परिसर में स्थित उपजिलाधिकारी कार्यालय का घेराव करते हुए मुख्यमंत्री के नाम संबोधित एक ज्ञापन उपजिलाधिकारी को सौंपा। इस दौरान भारतीय किसान यूनियन युवा के प्रदेश अध्यक्ष जितेंद्र सिंह जीतू ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि सरकार द्वारा बेमौसमी धान की खेती पर लगाया गया प्रतिबंध किसानों के हित में नहीं है। क्षेत्र के किसान इस फैसले से नाखुश हैं और सभी किसान एकमत होकर मांग कर रहे हैं कि जो अनुमति सरकार द्वारा दी जा रही है, वह सभी इच्छुक किसानों को उपलब्ध कराई जाए। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि किसानों के विरुद्ध कोई भी कानूनी कार्रवाई की गई तो भारतीय किसान यूनियन युवा इसके विरोध में उग्र आंदोलन करने से पीछे नहीं हटेगा।

सरकार के नए कृषि नियमों को लेकर किसानों में गहरी नाराजगी देखने को मिल रही है। खासतौर पर बेमौसमी धान की खेती पर लगी रोक को लेकर किसानों का कहना है कि यह न केवल उनकी आर्थिक स्थिति को कमजोर करेगा बल्कि इससे कृषि क्षेत्र में भी भारी नुकसान देखने को मिलेगा। प्रदर्शन के दौरान किसानों ने जोर देकर कहा कि यदि सरकार यह प्रतिबंध हटाने को तैयार नहीं होती तो आने वाले दिनों में वे विरोध प्रदर्शन को और तेज करेंगे। किसानों की मांग है कि सरकार जल्द से जल्द उनके पक्ष में फैसला ले, ताकि उन्हें किसी भी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े।

किसानों का यह भी कहना है कि सरकार मक्का की खेती को बढ़ावा देने के लिए किसानों को प्रेरित कर रही है, लेकिन किसानों को डर है कि कहीं मक्का की भी वही स्थिति न हो जो अन्य फसलों की होती आई है। सरकार को इस बात की गारंटी देनी चाहिए कि मक्का की खरीद न्यूनतम समर्थन मूल्य (डैच्) पर ही की जाएगी, तभी किसान इस फसल की ओर रुख करेंगे। यदि सरकार ऐसा कोई आश्वासन नहीं देती है, तो किसान मक्का की खेती करने के लिए तैयार नहीं होंगे। किसानों का मानना है कि बिना किसी ठोस नीति के जबरन किसी विशेष फसल को उगाने के लिए बाध्य करना अन्यायपूर्ण है।

इस दौरान प्रदर्शन में शामिल सैकड़ों किसानों ने एक स्वर में कहा कि सरकार को उनकी मांगों पर तुरंत विचार करना चाहिए, क्योंकि किसानों की आजीविका पूरी तरह से खेती पर निर्भर करती है। यदि सरकार ने उनकी बातों को गंभीरता से नहीं लिया, तो वे सड़कों पर उतरकर सरकार के खिलाफ निर्णायक आंदोलन करेंगे। किसानों का आरोप है कि हर बार सरकार किसानों के हित में बड़े-बड़े दावे करती है, लेकिन जब उन दावों को लागू करने की बारी आती है तो किसानों को नजरअंदाज कर दिया जाता है। यही कारण है कि इस बार किसान सरकार से ठोस जवाब की मांग कर रहे हैं।

गौरतलब है कि इससे पहले भी किसान कई बार अपनी मांगों को लेकर प्रशासन से बातचीत कर चुके हैं, लेकिन सरकार की ओर से उन्हें कोई ठोस आश्वासन नहीं दिया गया। भारतीय किसान यूनियन युवा के नेताओं का कहना है कि अगर सरकार जल्द ही किसानों के हित में निर्णय नहीं लेती तो वे बड़े स्तर पर आंदोलन की रणनीति तैयार करेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार को किसानों की आर्थिक और कृषि से जुड़ी समस्याओं को गंभीरता से लेना चाहिए, अन्यथा स्थिति और भी ज्यादा खराब हो सकती है।

प्रदर्शन के दौरान किसानों ने यह भी कहा कि सरकार द्वारा लागू किए गए नए कृषि कानून किसानों के लिए परेशानी का सबब बनते जा रहे हैं। सरकार ने बिना किसानों से सलाह-मशविरा किए कई ऐसे फैसले लिए हैं जो कृषि के लिए नुकसानदायक साबित हो सकते हैं। ऐसे में किसान संघटन अब आर-पार की लड़ाई के मूड में नजर आ रहे हैं। जितेंद्र सिंह जीतू ने साफ शब्दों में कहा कि जब तक सरकार उनकी मांगों को पूरा नहीं करती, तब तक किसान संघर्ष जारी रखेंगे।

प्रदर्शन कर रहे किसानों ने सरकार से मांग की कि उनकी बातों पर जल्द से जल्द विचार किया जाए ताकि क्षेत्र के किसानों को राहत मिल सके। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर सरकार उनकी मांगों पर ध्यान नहीं देती है, तो वे अनिश्चितकालीन आंदोलन करने के लिए बाध्य होंगे। भारतीय किसान यूनियन युवा का कहना है कि सरकार को किसानों के साथ दोहरा रवैया बंद करना होगा और उनकी समस्याओं को हल करने के लिए ईमानदारी से प्रयास करने होंगे।

अब देखने वाली बात यह होगी कि सरकार इस प्रदर्शन और किसानों की चेतावनी को कितनी गंभीरता से लेती है। क्या किसानों की मांगें पूरी की जाएंगी या फिर वे आंदोलन करने को मजबूर होंगे? यह आने वाला समय ही बताएगा। लेकिन इतना जरूर है कि यदि सरकार ने जल्द निर्णय नहीं लिया तो यह विरोध बड़े आंदोलन का रूप ले सकता है और सरकार के लिए एक नई चुनौती खड़ी कर सकता है।

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