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भाजपा के खिलाफ पर्वतीय समाज का कांग्रेस को समर्थन, बदलाव की ओर बढ़ा कदम

काशीपुर(एस पी न्यूज़)। आगामी निकाय चुनाव के लिए जैसे-जैसे समय नजदीक आ रहा है, राजनीतिक हलचलें तेज होती जा रही हैं। काशीपुर में भाजपा के खिलाफ कांग्रेस का रुख और भी प्रखर होता जा रहा है, खासकर पर्वतीय समाज को लेकर। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता, एडवोकेट मनोज जोशी ने भाजपा पर हमला करते हुए आरोप लगाया है कि पार्टी ने पर्वतीय समाज की अनदेखी की है, जिसके परिणामस्वरूप समाज का एक बड़ा हिस्सा इस बार बदलाव की ओर रुख कर चुका है। उन्होंने यह दावा किया कि काशीपुर में अब पर्वतीय समाज पूरी तरह से कांग्रेस के पक्ष में आ चुका है और भाजपा को इस चुनाव में बड़ी हार का सामना करना पड़ सकता है।

कांग्रेस नेता का यह बयान तब आया जब भाजपा ने मेयर पद के लिए उम्मीदवार के रूप में एक ऐसे व्यक्ति को टिकट दिया, जो पार्टी में बहुत समय से नहीं था। इस निर्णय से काशीपुर में पर्वतीय समाज के कई प्रतिष्ठित व्यक्तियों की उम्मीदों को ठेस पहुंची है। एडवोकेट उमेश जोशी ने भी कहा कि काशीपुर में एक प्रतिष्ठित चिकित्सक और पर्वतीय समाज के कई दावेदार भाजपा से मेयर का टिकट पाने के लिए जोर लगाते रहे, लेकिन पार्टी ने उनकी अनदेखी कर दिया। इसके चलते, समाज में नाराजगी का माहौल है और इन नेताओं का कहना है कि भाजपा के नेतृत्व ने न केवल उनके समाज के अधिकारों की अनदेखी की, बल्कि उनकी पार्टी की नीतियों में भी एक स्थिरता की कमी दिखाई दी। भाजपा से नाराज पर्वतीय समाज के लोग अब कांग्रेस से जुड़ने को तैयार हैं। यह बदलाव केवल काशीपुर तक सीमित नहीं है, बल्कि पूरे पर्वतीय समाज में इसके असर होने की संभावना है। जोशी का कहना है कि अब भाजपा के लिए इस समाज का विश्वास जीतना बहुत कठिन हो सकता है, क्योंकि लोग महसूस कर रहे हैं कि पार्टी ने उन्हें पूरी तरह से नजरअंदाज किया। यही कारण है कि अब पर्वतीय समाज के लोग कांग्रेस के पक्ष में वोट देने का मन बना चुके हैं, जो कि भाजपा के लिए एक बड़ा झटका साबित हो सकता है।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं का यह भी मानना है कि काशीपुर में भाजपा के उम्मीदवार ने मेयर पद के लिए अपनी दावेदारी प्रस्तुत करने वाले स्थानीय नेताओं की भावनाओं के साथ खिलवाड़ किया है। भाजपा द्वारा किए गए इस निर्णय के बाद पर्वतीय समाज के लोग अपने रुख को स्पष्ट करने में पीछे नहीं हटे हैं। कांग्रेस पार्टी अब इस असंतोष का फायदा उठाने के लिए पूरी तरह से तैयार है। मनोज जोशी ने कहा कि जब तक समाज के ये प्रमुख लोग भाजपा से अलग होकर कांग्रेस के साथ नहीं जुड़ते, तब तक पार्टी के पास इस गुस्से को नकारने का कोई रास्ता नहीं होगा। उसी प्रकार, कांग्रेस के इस कदम ने भाजपा को घेर लिया है। पार्टी के भीतर अनदेखी के कारण भाजपा की स्थिति कमजोर हो गई है। भाजपा के नेताओं ने जिस तरह से अपने समाज के प्रमुख व्यक्तियों को नजरअंदाज किया, वह उन्हें चुनावी परिणामों में भारी नुकसान दे सकता है। कांग्रेस अब इस असंतोष का फायदा उठाने में पूरी तरह से सक्रिय हो गई है और पर्वतीय समाज के समर्थन को अपनी ओर आकर्षित करने की कोशिश कर रही है। यह नया समीकरण भाजपा के लिए चुनौतियां खड़ी कर सकता है, खासकर काशीपुर जैसे प्रमुख शहर में जहां पर्वतीय समाज का बड़ा प्रभाव है।

इसके अलावा, मनोज जोशी ने भाजपा के राज में काशीपुर के विकास को लेकर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि काशीपुर के विकास में भाजपा की असफलता अब सबके सामने आ गई है, खासकर ओवरब्रिज जैसे महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट की लंबी देरी और अन्य योजनाओं के रुकने से लोगों में असंतोष फैल चुका है। जोशी ने यह भी आरोप लगाया कि भाजपा ने न केवल विकास की दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाए, बल्कि अब धर्म के नाम पर लोगों को गुमराह करने की कोशिश कर रही है। यह देखकर जनता अब भली-भांति समझ चुकी है कि भाजपा की असलियत क्या है। इस बार के चुनाव में कांग्रेस के पास पर्वतीय समाज का समर्थन बढ़ने की पूरी संभावना है, और भाजपा को इसका खामियाजा भुगतना पड़ सकता है। कांग्रेस इस मौके का पूरा फायदा उठाने के लिए रणनीति बना चुकी है और काशीपुर में भाजपा की पकड़ी हुई स्थिति को चुनौती देने की तैयारी में है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि भाजपा की स्थानीय स्थिति और विकास कार्यों की कमी काशीपुर के मतदाताओं को कितना प्रभावित करती है, और कांग्रेस को क्या इस बार पर्वतीय समाज के समर्थन के साथ चुनावी जीत मिलती है।

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