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पार्षदों का एकजुट सशक्त संदेश पूर्व विधायक के आरोपों को किया खारिज

दीपक बाली के तेज विकास कार्यों से बौखलाए पूर्व विधायक, पार्षदों ने एकजुट होकर चीमा पर लगाया संगठन और जनहित की अनदेखी का आरोप।

काशीपुर। बुद्धवार को पूर्व विधायक हरभजन सिंह चीमा द्वारा महापौर दीपक बाली के चौराहों के नाम बदलने को लेकर की गई प्रेस वार्ता के विरोध स्वरूप नगर निगम के समस्त पार्षद एकजुट होकर सामने आए और उन्होंने पूर्व विधायक के आरोपों को पूरी तरह अस्वीकार कर दिया। पार्षदों ने साफ कहा कि पूर्व विधायक को शायद काशीपुर के तेज़ विकास को हजम करना मुश्किल हो रहा है क्योंकि उन्होंने अपने लंबे राजनीतिक जीवन में विकास के नाम पर कोई ठोस काम नहीं किया। इस बार जब महापौर दीपक बाली ने रुकी हुई विकास की गाड़ी को गति दी है, तब ही पूर्व विधायक की असंतुष्टि उभरकर सामने आई है। पार्षदों ने यह भी सवाल उठाया कि जिस पार्टी संगठन के साथ पूर्व विधायक के साथ-साथ वह स्वयं जुड़ाव की बात करते हैं, उस संगठन की दशा पर उन्होंने कभी ध्यान दिया है या नहीं।

नगर निगम के पार्षद सतीश शर्मा, पुष्कर बिष्ट, अनिता कांबोज, अंजना, गुंजन प्रजापति, वैशाली गुप्ता, मोहम्मद मोनीष, आशी, संदीप सिंह मोनू, अनिल कुमार, पति प्रकाश नेगी सहित अन्य ने महापौर दीपक बाली की प्रशंसा करते हुए कहा कि उन्होंने मात्र 100 दिनों में 63 करोड़ रुपए के विकास कार्य शुरू कराकर काशीपुर के विकास के इतिहास में एक नई मिसाल कायम की है। शहर के हर वार्ड में सड़कों का कायाकल्प हो रहा है, गैबिया नाला तथा गूल की तलियों की सफाई की जा रही है, और इस तेजी से हो रहे विकास कार्यों के चलते जनता का आशीर्वाद और प्यार पार्षदों तक भी पहुंच रहा है। उन्होंने यह भी जोर दिया कि महापौर की कार्यशैली पूरी तरह पारदर्शी है और वे किसी भी जाति, धर्म या दलगत भेदभाव के बिना सभी वार्डों का समग्र विकास सुनिश्चित कर रहे हैं।

जहां तक चौराहों के नाम बदलने का सवाल है, पार्षदों ने बताया कि यह मांग विभिन्न सामाजिक संगठनों और जनता की ओर से उठी थी। इस मांग के आधार पर नगर निगम बोर्ड ने इस विषय पर विस्तृत चर्चा की और सर्वसम्मति से नाम बदलने तथा सौंदर्यीकरण को मंजूरी दी गई। पूर्व विधायक द्वारा लगाए गए आरोप पूरी तरह निराधार और निरर्थक हैं। पार्षदों ने कहा कि यदि पूर्व विधायक सचमुच काशीपुर के विकास के लिए चिंतित होते तो वे महापौर और पार्षदों के प्रयासों को सराहते और उनका सहयोग करते, न कि राजनीतिक बयानबाजी करके विकास की राह में बाधा उत्पन्न करते।

पार्षदों ने कहा कि महापौर दीपक बाली ने पार्षदों की समस्याओं का त्वरित समाधान किया है और वे कभी भी विकास कार्यों को लंबित नहीं रखते। जनता के बीच महापौर की लोकप्रियता इतनी अधिक है कि नगर निगम में आए दिन भारी भीड़ देखी जाती है, जो उनकी विभिन्न समस्याओं के समाधान के लिए आती है। इस बात को लेकर पूर्व विधायक के दावे कि उनके क्षेत्र में भीड़ नहीं होती, को पार्षदों ने खारिज कर दिया और कहा कि वास्तव में जनता महापौर दीपक बाली के कार्यों से बेहद संतुष्ट और खुश है। पार्षदों ने यह भी बताया कि महापौर सभी को सम्मान देते हैं, भले ही वे विपक्षी दल से क्यों न हों। इसी कारण आज के इस विरोध कार्यक्रम में विपक्षी दल के सभी पार्षद भी मंच पर आकर महापौर की प्रशंसा करते नजर आए।

संगठन की बात करते हुए पार्षदों ने पूर्व विधायक को चुनौती दी कि वे बताएं कि अपने 20 वर्षों के विधायक काल में उन्होंने संगठन के लिए क्या किया? जबकि महापौर दीपक बाली शिलान्यास कार्यक्रमों में बूथ अध्यक्ष, मंडल अध्यक्ष और शक्ति केंद्र संयोजकों सहित सभी पदाधिकारियों को सम्मान देते हैं और संगठन को मजबूत करने का कार्य करते हैं। पूर्व विधायक के कार्यकाल में पार्षदों को अक्सर अनदेखा किया जाता था, बिजली के खंभे तक उपलब्ध नहीं कराए जाते थे, और सड़कों के विकास को लेकर पूछताछ की जाती थी कि वहां कितने लोग रहते हैं, जबकि महापौर बाली बिना किसी भेदभाव के केवल विकास पर ध्यान देते हैं।

मुख्यमंत्री के काशीपुर आगमन के अवसर पर पूर्व और वर्तमान विधायक दोनों को सम्मानित किया गया, वहीं प्रधानमंत्री आवास योजना के चेक वितरण कार्यक्रम में भी विधायक त्रिलोक सिंह चीमा को बुलाया गया था। ऐसे में पूर्व विधायक द्वारा स्वयं की और वर्तमान विधायक की उपेक्षा की बात उठाना निराधार है। आज के विरोध प्रदर्शन में बीना नेगी, अनीता कांबोज, दीपा पाठक, अंजना, सुरेश सैनी, पुष्कर बिष्ट, वैशाली गुप्ता, संजय शर्मा, घनश्याम सैनी, अनूप सिंह, सीमा सागर, प्रिंस बाली, मयंक मेहता, गुंजन प्रजापति, मोहम्मद मोनीष आशी, अरशद भाई, सतीश कुमार, अनिल कुमार, अशोक सैनी, मोहम्मद शरीफ, मिराज जहां के पति, रवि प्रजापति, अब्दुल कादिर, हुसैन जहां के पति, सरफराज, जीनत बानो के पति, शाह आलम, संदीप सिंह मोनू सहित कई अन्य पार्षद मौजूद थे। इस कार्यक्रम का संचालन पार्षद संजय शर्मा ने किया। कुछ पार्षद निजी कारणों से उपस्थित नहीं हो सके।

यह विरोध प्रदर्शन पूरी तरह से स्पष्ट करता है कि नगर निगम के सभी पार्षद महापौर दीपक बाली के विकास कार्यों के प्रति एकजुट और पूर्ण समर्थन में हैं। वे पूर्व विधायक हरभजन सिंह चीमा द्वारा लगाए गए निराधार आरोपों को पूरी तरह से अस्वीकार करते हैं और उन्हें बेबुनियाद मानते हैं। पार्षदों का मानना है कि महापौर दीपक बाली ने जो तेजी और पारदर्शिता के साथ काशीपुर के विकास कार्यों को आगे बढ़ाया है, वह काशीपुर के लिए एक नई उम्मीद और विश्वास का कारण बना है। पिछले वर्षों की ठहराव और सुस्ती के बाद इस बार विकास की गाड़ी तेजी से दौड़ रही है, जिससे नगर के नागरिकों में भी संतोष और विश्वास बढ़ा है। महापौर और पार्षदों की यह जोड़ी शहर को बेहतर, स्वच्छ और समृद्ध बनाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। उनका समर्पण और मेहनत ही काशीपुर की प्रगति का सबसे बड़ा आधार बन गई है।

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